Friday, September 4, 2015

बहुत ही शर्मनाक स्थिति है। प्रो. कालबुर्गी की हत्या करने वालों का विरोध करने के बजाय हत्यारों का विरोध करने वालों का विरोध किया जा रहा है। सारी पुरानी उधारी का हिसाब किया जा रहा है। सबसे असंवेनशील हो चुके हे.... डिहोमनाइज प्रगतिशीलों, क्रांतिकारी कुकुरमुत्तों ....खाओ लाशों को नोच नोच कर.......

   
Prashant Mishra
September 5 at 1:16am
 
बहुत ही शर्मनाक स्थिति है। प्रो. कालबुर्गी की हत्या करने वालों का विरोध करने के बजाय हत्यारों का विरोध करने वालों का विरोध किया जा रहा है। सारी पुरानी उधारी का हिसाब किया जा रहा है। सबसे असंवेनशील हो चुके हे.... डिहोमनाइज प्रगतिशीलों, क्रांतिकारी कुकुरमुत्तों ....खाओ लाशों को नोच नोच कर.......

--
Pl see my blogs;


Feel free -- and I request you -- to forward this newsletter to your lists and friends!

No comments:

Post a Comment

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...

Census 2010

Welcome

Website counter

Followers

Blog Archive

Contributors